मंगलवार, 14 दिसंबर 2010

बुध अष्टोत्तरशतनामवलिः , बुध स्तुति के १०८ मन्त्र



बुध ग्रह के अशुभ प्रभाव से मुक्ति के लिये प्रतिदिन इन मन्त्रो का पाठ
करना चाहिये !
बुध ग्रह के अशुभ प्रभाव से मुख्यतः मस्तिष्क के रोग, पगलपन, पढाई मे
अरुचि, हकलाहट आदि मे आश्चर्य जनक लाभ इस स्त्रोत पाढ से प्राप्त होते है 
यह प्रयोग अनुभव किया हुआ है इसमे तनिक भी सन्देह नहीं है !


!! बुध अष्टोत्तरशतनामवलिः !!
बुध बीज मन्त्र - ॐ ब्राँ ब्रीं ब्रौं सः बुधाय नमः !!


ॐ बुधाय नमः !!१
ॐ बुधार्चिताय नमः !!२
ॐ सौम्याय नमः !!३
ॐ सौम्यचित्ताय नमः !!४
ॐ शुभप्रदाय नमः !!५
ॐ दृढव्रताय नमः !!६
ॐ दृढफलाय नमः !!७
ॐ श्रुतिजालप्रबोधकाय नमः !!८
ॐ सत्यवासाय नमः !!९
ॐ सत्यवचसे नमः !!१०
ॐ श्रेयसां पतये नमः !!११
ॐ अव्ययाय नमः !!१२
ॐ सोमजाय नमः !!१३
ॐ सुखदाय नमः !!१४
ॐ श्रीमते नमः !!१५
ॐ सोमवंशप्रदीपकाय नमः !!१६
ॐ वेदविदे नमः !!१७
ॐ वेदतत्त्वाशाय नमः !!१८
ॐ वेदान्तज्ञानभास्कराय नमः !!१९
ॐ विद्याविचक्षणाय नमः !!२०
ॐ विदुषे नमः !!२१
ॐ विद्वत्प्रीतिकराय नमः !!२२
ॐ ऋजवे नमः !!२३
ॐ विश्वानुकूलसंचाराय नमः !!२४
ॐ विशेषविनयान्विताय नमः !!२५
ॐ विविधागमसारज्ञाय नमः !!२६
ॐ वीर्यवते नमः !!२७
ॐ विगतज्वराय नमः !!२८
ॐ त्रिवर्गफलदाय नमः !!२९
ॐ अनन्ताय नमः !!३०
ॐ त्रिदशाधिपपूजिताय नमः !!३१
ॐ बुद्धिमते नमः !!३२
ॐ बहुशास्त्रज्ञाय नमः !!३३
ॐ बलिने नमः !!३४
ॐ बन्धविमोचकाय नमः !!३५
ॐ वक्रातिवक्रगमनाय नमः !!३६
ॐ वासवाय नमः !!३७
ॐ वसुधाधिपाय नमः !!३८
ॐ प्रसन्नवदनाय नमः !!३९
ॐ वन्द्याय नमः !!४०
ॐ वरेण्याय नमः !!४१
ॐ वाग्विलक्षणाय नमः !!४२
ॐ सत्यवते नमः !!४३
ॐ सत्यसंकल्पाय नमः !!४४
ॐ सत्यबन्धवे नमः !!४५
ॐ सदादराय नमः !!४६
ॐ सर्वरोगप्रशमनाय नमः !!४७
ॐ सर्वमृत्युनिवारकाय नमः !!४८
ॐ वाणिज्यनिपुणाय नमः !!४९
ॐ वश्याय नमः !!५०
ॐ वाताङ्गाय नमः !!५१
ॐ वातरोगहृते नमः !!५२
ॐ स्थूलाय नमः !!५३
ॐ स्थैर्यगुणाध्यक्षाय नमः !!५४
ॐ स्थूलसूक्ष्मादिकारणाय नमः !!५५
ॐ अप्रकाशाय नमः !!५६
ॐ प्रकाशात्मने नमः !!५७
ॐ घनाय नमः !!५८
ॐ गगनभूषणाय नमः !!५९
ॐ विधिस्तुत्याय नमः !!६०
ॐ विशालाक्षाय नमः !!६१
ॐ विद्वज्जनमनोहराय नमः !!६२
ॐ चारुशीलाय नमः !!६३
ॐ स्वप्रकाशाय नमः !!६४
ॐ चपलाय नमः !!६५
ॐ जितेन्द्रियाय नमः !!६६
ॐ उदङ्मुखाय नमः !!६७
ॐ मखासक्ताय नमः !!६८
ॐ मगधाधिपतये नमः !!६९
ॐ हरये नमः !!७०
ॐ सौम्यवत्सरसंजाताय नमः !!७१
ॐ सोमप्रियकराय नमः !!७२
ॐ महते नमः !!७३
ॐ सिंहाधिरूढाय नमः !!७४
ॐ सर्वज्ञाय नमः !!७५
ॐ शिखिवर्णाय नमः !!७६
ॐ शिवंकराय नमः !!७७
ॐ पीताम्बराय नमः !!७८
ॐ पीतवपुषे नमः !!७९
ॐ पीतच्छत्रध्वजाङ्किताय नमः !!८०
ॐ खड्गचर्मधराय नमः !!८१
ॐ कार्यकर्त्रे नमः !!८२
ॐ कलुषहारकाय नमः !!८३
ॐ आत्रेयगोत्रजाय नमः !!८४
ॐ अत्यन्तविनयाय नमः !!८५
ॐ विश्वपवनाय नमः !!८६
ॐ चाम्पेयपुष्पसंकाशाय नमः !!८७
ॐ चारणाय नमः !!८८
ॐ चारुभूषणाय नमः !!८९
ॐ वीतरागाय नमः !!९०
ॐ वीतभयाय नमः !!९१
ॐ विशुद्धकनकप्रभाय नमः !!९२
ॐ बन्धुप्रियाय नमः !!९३
ॐ बन्धुयुक्ताय नमः !!९४
ॐ वनमण्डलसंश्रिताय नमः !!९५
ॐ अर्केशाननिवासस्थाय नमः !!९६
ॐ तर्कशास्त्रविशारदाय नमः !!९७
ॐ प्रशान्ताय नमः !!९८
ॐ प्रीतिसंयुक्ताय नमः !!९९
ॐ प्रियकृते नमः !!१००
ॐ प्रियभूषणाय नमः !!१०१
ॐ मेधाविने नमः !!१०२
ॐ माधवसक्ताय नमः !!१०३
ॐ मिथुनाधिपतये नमः !!१०४
ॐ सुधिये नमः !!१०५
ॐ कन्याराशिप्रियाय नमः !!१०६
ॐ कामप्रदाय नमः !!१०७
ॐ घनफलाश्रयाय नमः !!१०८
!!इति बुध अष्टोत्तरशतनामावलिः सम्पूर्णम् !!

बुध ग्रह को ज्योतिष मे विचार, सोच, विवेक, सूचना एवम लेखन आदि का कारक माना
जाता है कुण्डली मे बुध के नकारात्मक प्रभाव को कम एवम शुभ प्रभाव मे ब्रद्धि के लिये 
बुध के इन एक सौ आठ मन्त्रों का श्रद्धा से बुध देव का स्मरण करते हुए पाठ करने से 
बुध के अशुभ प्रभाव से मुक्ति एवम शुभ प्रभाव का लाभ प्राप्त होने लगता है !

1 टिप्पणी:

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